छत्तीसगढ़सूरजपुर

जिले में युक्तियुक्तकरण बना मज़ाक…!

भुईहारीपारा‌ स्कूल में पदस्थ शिक्षिका ने आदेश जारी होने के 28 दिन‌ बाद भी नहीं किया कार्यभार ग्रहण

62 बच्चों की पढ़ाई अधर में, विशेष पिछड़ी जनजाति के छात्र सबसे ज़्यादा प्रभावित

सूरजपुर – शिक्षा विभाग द्वारा बच्चों के भविष्य को सुधारने की मंशा से लागू की गई युक्तियुक्तकरण प्रक्रिया अब खुद सवालों के घेरे में है। विकासखण्ड सूरजपुर के शासकीय प्राथमिक शाला भुईहारीपारा बेलटिकरी में पदस्थ शिक्षिका ने आदेश जारी होने के 28 दिन बाद भी कार्यभार ग्रहण नहीं किया है, जिससे इस विद्यालय में एकल शिक्षकीय की स्थिति ज्यों कि त्यों बनी हुई है। गौरतलब है कि जिला शिक्षा अधिकारी, सूरजपुर द्वारा दिनांक 04 जून 2025 को आदेश जारी कर एक शिक्षिका की पदस्थापना विद्यालय में की गई थी,लेकिन आदेश के बावजूद अब तक कार्यभार नहीं लेने से यहां पढ़ने वाले 62 विद्यार्थियों, जिनमें से लगभग 20 प्रतिशत छात्र विशेष पिछड़ी जनजाति पण्डो समुदाय से हैं, उनकी पढ़ाई गंभीर रूप से प्रभावित हो रही है। विद्यालय के प्रधान पाठक ने जिला शिक्षा अधिकारी को स्थिति से अवगत कराते हुए वैकल्पिक शिक्षक व्यवस्था करने की मांग की है,

ताकि बच्चों की पढ़ाई ठप्प न हो और शिक्षण कार्य पुनः गति पकड़ सके,क्योंकि एकल शिक्षकीय होने से प्रधान पाठक को स्वयं ही अध्यापन कार्य के साथ विद्यालय से संबंधित सभी कार्यों का संपादन करने से विद्यालय को सुचारू रूप से संचालित करने में काफी परेशानी हो रही है। यह स्थिति सूरजपुर जिले के और भी बहुत से विद्यालय की बनी हुई है। प्रश्न यह उठता है कि जब युक्तियुक्तकरण के बाद भी संस्था में शिक्षक उपस्थित नहीं हो रहे, तो क्या यह प्रक्रिया सिर्फ़ कागज़ी खानापूर्ति बनकर रह गई है ? क्या शिक्षा विभाग बच्चों की पढ़ाई और उनके भविष्य को लेकर वाकई गंभीर है ? अब देखना यह होगा कि जिला शिक्षा अधिकारी इस मामले में कितनी त्वरित कार्रवाई करते हैं और इस संकट से बच्चों को कब राहत मिलती है।

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